Type Here to Get Search Results !

पोट्टि श्रीरामुलु (Potti Sreeramulu)

0

विषय सूची

Potti Sreeramulu
Potti Sreeramulu

पूरा नाम – पोट्टि श्रीरामुलु

जन्म – 16 मार्च, 1901

जन्म भूमि – मद्रास

मृत्यु – 15 दिसम्बर, 1952

मृत्यु स्थान – चेन्नई

नागरिकता – भारतीय

प्रसिद्धि – स्वतन्त्रता सेनानी

आंदोलन – नमक सत्याग्रह (1930), व्यक्तिगत सत्याग्रह (1940), भारत छोड़ो आंदोलन (1942)

संबंधित लेख – गाँधी जी, एन.जी. रंगा

अन्य जानकारी – पोट्टि श्रीरामुलु का 58 दिन तक यह अनशन चला और अपने उद्देश्य के लिए उन्होंने प्राणों की आहुति दे दी।

पोट्टि श्रीरामुलु (अंग्रेज़ी: Potti Sreeramulu, जन्म- 16 मार्च, 1901, मद्रास; मृत्यु- 15 दिसम्बर, 1952, चेन्नई) मद्रास प्रदेश से पृथक् आंध्र प्रदेश की स्थापना के लिए अनशन करके अपने प्राण त्याग देने वाले व्यक्ति थे। ये गाँधी जी के पक्के अनुयायी थे। पोट्टि श्रीरामुलु (Potti Sreeramulu) ने नमक सत्याग्रह, व्यक्तिगत सत्याग्रह और ‘भारत छोड़ो आंदोलन’ में जेल की सजाएं भी भोगीं थी।

परिचय

पोट्टि श्रीरामुलु (Potti Sreeramulu) का जन्म 16 मार्च, 1901 ई. में मद्रास में हुआ था। शिक्षा प्राप्त करने के बाद उन्होंने कुछ समय तक रेलवे में नौकरी की। लेकिन शीघ्र ही पोट्टि श्रीरामुलु (Potti Sreeramulu) पर महात्मा गाँधी के विचारों का प्रभाव पड़ा और नौकरी छोड़कर वे गाँधी जी के साबरमती आश्रम चले गए।

गाँधी जी के अनुयायी

श्रीरामुलु गाँधी जी के पक्के अनुयायी थे। उन्होंने मद्यनिषेध, हरिजनोद्धार, खादी और ग्रामोद्योग के कार्यों में भाग लिया। 1930 के नमक सत्याग्रह, 1940 के व्यक्तिगत सत्याग्रह और 1942 के ‘भारत छोड़ो आंदोलन’ में जेल की भी सजाएं भोगी थीं।

अनशन तथा मृत्यु

पोट्टि श्रीरामुलु ने अपने नगर नेल्लौर में हरिजनों के मंदिर प्रवेश के लिए 23 दिन अनशन करके उसमें सफलता पाई थी। मद्रास प्रदेश से अलग आंध्र प्रदेश की मांग बहुत समय से उठ रही थी। लेकिन भारत सरकार कोई ध्यान नहीं दे रही थी। इस पर श्रीरामुलु ने घोषणा की कि सत्ताधिकारियों को सक्रिय करके आंध्र प्रदेश की स्थापना के लिए मैं अपने प्राणों की बाजी लगा रहा हूँ। 

19 अक्तूबर, 1952 से वे आमरण अनशन पर बैठे थे। पोट्टि श्रीरामुलु का 58 दिन तक यह अनशन चला और अपने उद्देश्य के लिए उन्होंने प्राणों की आहुति दे दी। पोट्टि श्रीरामुलु के बलिदान के चार दिन बाद प्रधानमंत्री ने संसद में घोषणा की कि मद्रास प्रदेश को विभाजित करके पृथक् आंध्र प्रदेश की स्थापना की जाएगी । पोट्टि श्रीरामुलु का बलिदान व्यर्थ नहीं गया था। पोट्टि श्रीरामुलु का 15 दिसम्बर, 1952, चेन्नई में हुआ था।

इसेभी देखे – पुरस्कार (Awards), भारतीय सशस्त्र बल (Indian Armed Forces), महाकाव्य (Mahakavya), वेद (Vedas), योग (Yoga), अष्टांग योग (Ashtanga Yoga)

एक टिप्पणी भेजें

0 टिप्पणियाँ